जाग सको तो जाग जाओ भइया
हाथ बढ़ाओ,साथ आ जाओ भइया
मेरे स्वजनों, मेरे राष्ट्रभक्त भारतवासियों,
हमने नागपुर की दीक्षा भूमि से नये अंबेडकरी मिशन की शुरुआत कर दी है।शुरु हो गया है देश बचाओ.संविधान बचाओ,नागरिकता बचाओ,लोकतंत्र बचाओ,आजीविका बचाओ,पर्यावरण बचाओ,जल जंगल जमीन बचाओ,भूमि सुधार राष्ट्रीय जागरुकता और सशक्तिकरण मिशऩ।हमारे पुरखों के अधूरे काम को अंजाम देने का मिशन।
नागपुर में जो साथी,जो स्वजन आये,उनका आभार।
देश के कोने कोने से,समस्त आदिवासी इलाकों से, नियमागिरि, कलिंगनगर,कालाहांडी और वेदांत पास्को के खिलाफ लड़ने वाले साथी,तमिलनाडु, कर्नाटक और आंध्र से भी साथी आये।हिमालय और पूर्वोत्तर के लोगों को हम जोड़ नहीं पाये अभी।बाकी जो लोग नहीं आ सकें,उनमें से अनेक फोन पर सहमति और समर्थन जता रहे हैं।उनका आभार।स्वागत।
बामसेफ के विभिन्न धड़ों, विभिन्न अंबेडकरी संगठनों,जनसंगठनों के बीच पचासी फीसद की लड़ाई को निनानब्वे फीसद की लड़ाई में बदलने,साथ काम करने और विलय के सहमति पत्र पर बहस के बाद दस्तखत हो चुके हैं।
विभिन्न संगठनों के तीन सौ से ज्यादा प्रशिक्षित राष्ट्रीय सर्वकालीन कार्यकर्ता हमारे साथ थे। होलटाइमरों का राष्ट्रीय नेटवर्क सक्रिय हो गया है।
हमारे इस कार्यकर्म में विभिन्न धड़ों के जो नेतृत्व शामिल हुए,उनका भी आभार।
सौ साल उम्र के गुणधर वर्मण,बामसेफ के संस्थापक सदस्य मास्टर मानसिंह और कनाडा प्रवासी फतेह चंद जी निरंतर साथ रहे और कार्यक्रम में हाजिर हुए,बुजुर्ग और बामसेफ के पूर्व अध्यक्ष डा. चंदु मस्के जी,बामसेफ के राष्ट्रीय अध्यक्ष तारा राम मेहना,सुवचन राम आईआरएस,एडवोकेट एसके पाटिल समेत तमाम सीनियर साथियों का आभार।बहुत सारे सम्मानीयसाथी ऐसे हैं,जो साथ हैं,लेकिन नामोल्लेख से उन्हें परहेज हैं,उनका भी आभार।
तमाम वरिष्ठ नागरिकों,समाजकर्मियों के मार्गदर्शन से ही भविष्य का पथ बनेगा।उन्हें उनका प्राप्य सम्मान से कभी वंचित नहीं किया जायेगा।संगठन के कामकाज में उनकी राय का सम्मान हर हाल में होगा।
नागपुर विश्वविद्यालय के अंबेडकर अध्ययन विभाग के अध्यक्ष डा.प्रदीप अगलावे,बंगाल के आदिवासी नेता चरण बेसरा,अंबेडकर मिशन के राव साहब मोहन,वरिष्ठ बामसेफ संगठक व लेखक पीके राय भीमराज ,आदिवासी महासंघ के नेता विजयकुजुर जैसे तमाम प्रतिबद्ध सक्रिय समाजकर्मियों का समर्थन प्राप्त हुआ हैं।उन सभी का आभार।
निखिल भारत बंगाली उद्बास्तु समन्वय समिति के अध्यक्ष व प्रखर सामाजिक कार्यकर्ता व्यस्त चिकित्सक डा.सुबोध विश्वास भी इस कार्यक्रम में शामिल हुए। उनका भी आभार।
जिन महत्वपूर्ण लोगों की भागेदारी से यह मिशन शुरु हो सका,उनमें से सबका नामोल्लेख करना संभव नहीं है।लेकिन हम उन सबके आभारी है।
कार्यक्रम के आयोजन में नागपुर के संजय रामटेके,अंबादे साहब,मेश्रामजी और राजेश वाल्दे का अहम योगदान रहा।उनका भी आभार।
फंडिंग अब कोई बाध्यता नहीं है।तुरंत विलय की कोई बाध्यता नहीं है।पहले साथ दो चार कदम चलें,फिर विलय की औपचारिकता भी पूरी हो जायेगी।साझा ध्येय,साझा कार्यक्रम,साझा नेतृत्व,साझा मिशन के जरिये यह एकीकरण और विलय बस एक औपचारिकता भर है।
पहला सामूहिक विलय एकीकृत बामसेफ के दिसंबर में होने वाले राष्ट्रीय सम्मेलन में होगा। जिसके जरिये सभी संगठनों, सभी समुदायों और सभी भौगोलिक इकाइयों के आनुपातिक प्रतिनिधित्व व चुनाव के जरिये राष्ट्रीय कार्यसमिति और नये नेतृत्व का गठन होगा।
संतोषजनक काम न होने पर आमसभा और केंद्रीय समिति को अद्यक्ष समेत संगठन के किसी भी अधिकारी को हटाने का भी अधिकार होगा।किसी पर अन्याय न हो,इसकी पद्धति तय हो गयी है।किसी को भी बिना केंद्रीयसमिति के दो तिहाई बहुमत के बिना हटाया नहीं जायेगा।आम सदस्य को भी अपना पक्ष रखने की पूरी स्वतंत्रता होगी।हम सदस्य,हर साथी के मतामत को प्राथमिकता दी जायेगी।
वित्तीयअधिकार नेतृत्व को नहीं होगा।वित्तीय समिति अलग होगी।जो बाकायदा बजट के मुताबिक काम करेगी।
नीति निर्धारण की प्रक्रिया जमीनी स्तर से शुरु होगी।संगठन कंफेडरेशन के बतौर काम करेगा।
विलय की यह प्रक्रिया संपूर्ण विलय तक निरंतर जारी होती रहेगी।
संस्थागत संगठन के निर्माण व संचालन के लिए संविधान, नियम, प्रक्रिया के मसविदे तैयार हो रहे हैं जो राष्ट्रीय अधिवेशन में पेश होंगे और लागू होंगे।
जमीनी स्तर से लेकर राष्ट्रीय स्तर तक महिलाओं,युवाओं और आदिवासियों को नेतृत्व में लाने की प्रक्रिया शुरु हो चुकी है।
आप सबसे जिनसे संपर्क नहीं हो सका,अगर राष्ट्रभक्त आप इस मिशन में शामिल होने को इच्छुक हैं, सहमति पत्र ,आम सभा की माइन्यूट्स और वीडियो क्लीपिंग अगर आप देखना चाहते हैं,नेट पर सारी सामग्री जल्द से जल्द उपलब्ध करा दी जायेगी।आपको न मिले तो
आप सीधे तदर्थ कार्यकारिणी के निर्वाचित अध्यक्ष एन बी गायकवाड़ जी से उनके मोबाइल नंबर 09819024594 से संपर्क करके प्राप्त कर सकते हैं।
अगर आप हमारे साथ चलने को तैयार है तो प्लीज हाथ बढ़ाइये। आपका तहेदिल से स्वागत है।
बंगाल के सारे प्रतिबद्ध सामाजिक कार्यकर्ता जो अंबेडकरी व समविचारी ,हरिचांद गुरुचांद मतुआ मिशन के साथ हैं,वे साथ आ चुके हैं।बंगाल से मूलनिवासी बहुजन समाज संघ,मूलनवासी परिषद और दूसरे तमाम संगठन हमारे साथ हैं।
उड़ीसा में भी ऐसा ही हुआ है।मूलनिवासी समता परिषद के सारे कार्यकर्ता अभिराम और उज्जव्ल मल्लिक के साथ एकीकरण के लिए सक्रिय हैं।
आदिवासी महासंघ हमारे साथ है।
झारखंड से बुद्धिजीवी आदिवासी विचार मंच हमारे साथ हैं।
आंध्र से बहुजनवादी अधिकार परिषद हमारे साथ है।
महाराष्ट्र से अखिल भारतीय आदिवासी महासभा और बामसेफ के तमाम प्रतिबद्ध कारयतर्ता हमारे साथ हैं।फूले साहू शिवाजी अंबेडकर विचारधारा और मिशन के लोग हमारे साथ हैं।
राजस्थान से राष्ट्रीय आदिवासी एकता परिषद हमारे साथ है।
छत्तीसगढ़,मध्यप्रदेश,बिहार,उत्तरप्रदेश,कर्नाटक और तमलनाडु के लोग हमारे साथ हैं।पंजाब,हरियाणा,गुजरात के भी।
हमारी योजना वार्षिक राष्टीय सम्मेलन और राष्ट्रीय आदिवासी सम्मेलन साथ साथ करने की है।
दक्षिण भारत,मध्य भारत,पूर्व भारत और उत्तर भारत में हम ध्रुवीकरण की तेज प्रक्रिया में हैं।
अब आपही का इंतजार है।
सिंहद्वार में दस्तक बहुत तेज है भइया
जाग सको तो जाग जाओ भइया
हाथ बढ़ाओ,साथ आ जाओ भइया
पलाश विश्वास
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